कैदी रविवार: पुनर्वास हेतु आध्यात्मिक साधना की पेशकश
वाटिकन सिटी
13 अक्टूबर कैदी रविवार को इंग्लैंड और वेल्स प्रांत के येसु समाजियों ने कैदखाने में रहने वाले पुरुषों और महिलाओं के लिए आध्यात्मिक साधना का संचालन किया।
कैदियों के लिए स्थापित रविवार को विशेष बनाते हुए येसु समाजियों ने कैदखाने में बंद पुरुषों और महिलाओं के साथ समय व्यतीत किया, उनके लिए प्रार्थना हेतु समय प्रदान करते हुए ईश्वर के बारे में चर्चा की।
महामारी से प्रेरिताई तक
कोविड-19 महामारी के दौरान कैदखाने के लिए नियुक्त पुरोहित को सहायता प्रदान करने के लिए शुरू की गई कैदखाने की प्रेरितिक पहल ने जल्दी ही कैदियों के लिए आध्यात्मिक साधना का रुप ले लिया। जेल की प्रेरिताई करने वाले पुरोहित के संग मिलकर अन्य येसु संघी पुरोहित भाइयों ने कैदियों और कैदखाने के कर्मचारियों को चिंतन और प्रार्थना हेतु एक अवसर प्रदान किया है।
काथलिक कलीसिया की यह पहल अपने में विस्तृत हुई है क्योंकि येसु समाजी जेलों के लिए सुरक्षा मंजूरी प्राप्त करने हेतु एंग्लिकन और स्वतंत्र कलीसियाई परंपराओं के साथ काम करते हैं। प्रत्येक आध्यात्मिक साधना की अवधि और स्वरुप जेलों के सुरक्षा उपायों के आधार पर अलग-अलग होते हैं। उदाहरण के लिए, एक सप्ताह चलनेवाला निर्देशित प्रार्थना चिंतन हो सकता है, जबकि दूसरा सामूहिक रुप में एक दूसरे से मिलन का अवसर हो सकता है।
आध्यात्मिक साधना और पुनर्वास
स्थानीय पुरोहित जेलों के अधिकारियों के साथ मिलकर आध्यात्मिक साधना का संचालन करते हैं, जो पुनर्वास की प्रक्रिया का एक हिस्सा है। येसु समाजी के संस्थान और कार्यों से संयुक्त जॉन ग्रीन ने कहा कि कई बार ये आध्यात्मिक साधना इन कैदियों के लिए “सामान्यता के मरूधान” होते हैं, क्योंकि वे रिश्तों, परिवार, आस्था और अन्य विषयों के बारे में एक दूसरे से अपने विचारों को साझा करते हैं जो आमतौर पर “अनदेखे” किये जाते हैं। आध्यात्मिक साधना कैदियों को अकेलेपन और चुनौतियों का सामना करने के लिए आवश्यक साधन भी बनते हैं।
जब कोई कैदी अपनी सजा पूरी कर लेता है, तो वह ऑनलाइन आध्यात्मिक साधना में भाग ले सकता है, जो विशेष रूप से कोविड के दौरान उनकी मदद करने के लिए तैयार किया गया था। जेल की प्रेरिताई साधारण रुपों में प्रत्येक व्यक्ति की गरिमा का ख्याल करती और उन्हें आध्यात्मिक साधना हेतु कई सुविधा मुहैया करती है जैसे सीडी उपलब्ध कराना जो उन्हें प्रार्थना करने में मदद करता है।
संत पापा फ्रांसिस और कैदी
अपने पूरे परमधर्माध्यक्षीय कार्यकाल के दौरान, संत पापा फ्रांसिस ने कैदियों के लिए बार-बार समय निकाला और उनके लिए प्रार्थनाएँ अर्पित की हैं: कैदियों के अधिकारों पर जोर देते हुए उन्होंने पुण्य सप्ताह, पवित्र गुरुवार को कैदियों के पैर धोने की परंपरा को जारी रखा है। उन्होंने कैदियों को अधिक सम्मान दिए जाने और उनकी सुविधाओं में बेहतरी लाने का भी आह्वान किया है।
2016 में करूणा की जयंती के दौरान, संत पापा ने कैदियों के लिए एक रविवार को समर्पित किय था, जिसमें उन्होंने सभों को कैदियों की विशेष याद करते हुए उनके लिए प्रार्थना करने का आहृवान किया था।
श्री ग्रीन ने कहा कि कैदियों के लिए समर्पित एक दिन, जैसे कि कैदियों का रविवार, महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह “कलीसिया की इस प्रेरिताई की ओर लोगों का ध्यान आकर्षित करता है।” चूंकि अक्सर कैदी, उनके परिवार और जेल में कार्यरत पुरोहित” लोगों की “नज़रों और सोच-विचारों से भी दूर होते हैं।”
Thank you for reading our article. You can keep up-to-date by subscribing to our daily newsletter. Just click here