दिव्य करूणा रविवार
वाटिकन न्यूज
वाटिकन सिटी, शनिवार, 6 अप्रैल 2024 (रेई) : संत पापा फ्राँसिस ने विश्वासियों से कहा, “कल दिव्य करूणा रविवार है। आइये, हम अपने प्रति ईश्वर के प्रेम पर कभी संदेह न करें, बल्कि विश्वास और दृढ़ता के साथ अपने जीवन और दुनिया को प्रभु को सौंप दें। आइए हम उनसे उन राष्ट्रों के लिए न्यायपूर्ण शांति हेतु प्रार्थना करें जो युद्ध में शहीद हुए हैं।”
दिव्य करूणा की भक्ति 20वीं सदी में पोलैंड की धर्मबहन संत फौस्तीना कोवालस्का के द्वारा अधिक लोकप्रिय हुई जब येसु ने उन्हें दर्शन देकर और उनसे वार्तालाप कर दिव्य करुणा का प्रचार करने की मांग की।
येसु ने सिस्टर फौस्तीना से कहा था, "मैं चाहता हूँ कि दिव्य करुणा का पर्व सभी आत्माओं के लिए शरण और आश्रय हो। मानव जाति तब तक शांति नहीं पा सकता जब तक कि वह भरोसे के साथ मेरी दया के पास न लौटे।”
संत पापा जॉन पौल द्वितीय ने 30 अप्रैल 2000 को संत फौस्तीना की संत घोषणा के अवसर पर, पास्का के दूसरे रविवार को दिव्य करुणा रविवार मनाने की घोषणा की। इस तरह दिव्य करुणा के पर्व को विश्वव्यापी कलीसिया में मनाया जाने लगा।
संत पापा फ्राँसिस ने आह्वान किया है कि करुणावान ईश्वर के पास दृढ़ भरोसा रखकर हम कलीसिया एवं सारी मानवजाति के लिए प्रार्थना करें, विशेषकर उन लोगों के लिए जो इस अत्यन्त कठिन समय में कष्ट झेल रहे हैं।
Thank you for reading our article. You can keep up-to-date by subscribing to our daily newsletter. Just click here