संत पापा ने वाटिकन ग्रीष्कालीन शिविर के बच्चों से मुलाकात की
वाटिकन न्यूज
वाटिकन सिटी, बृहस्पतिवार, 18 जुलाई 24 (रेई) : संत पापा फ्राँसिस 18 जुलाई की सुबह ग्रीष्मकालीन शिविर में भाग लेनेवाले बच्चों एवं शिविर के संचालकों से मिले। वाटिकन के ग्रीष्मकालीन शिविर के बच्चों के लिए यह एक वार्षिक परंपरा बन गई है।
सुबह 8:30 बजे तेज गर्मी के बावजूद, संत पापा ने शिविर का दौरा किया और बच्चों एवं किशोरों के साथ बातचीत की, जिनके माता-पिता वाटिकन के कर्मचारी हैं। 18 जुलाई को, पोप ने नीले, पीले और हरे रंग के दलों का दौरा किया, जिनके रंग उम्र के हिसाब से निर्धारित होते हैं, जिसका नेतृत्व फादर फ्रेंको फोंताना कर रहे हैं, जो वाटिकन में सलेशियन समुदाय के निदेशक और वाटिकन सुरक्षा सेवाओं और संग्रहालयों के चैपलिन हैं, जिन्हें पोप ने मजाक में "सुपरमैन" कहा।
रंगीन टोपियाँ और टी-शर्ट पहने, 300 गुब्बारे आकाश में छोड़ते हुए बच्चों को, "आप ईश्वर की नजर में अनमोल हैं" वाक्यांश के साथ देखना एक बहुत ही रंगीन दृश्य था, जो बधाई, तालियाँ, हँसी और प्रार्थनाओं से भरा था।
संक्षिप्त प्रश्नोत्तरी के दौरान, पोप ने कई विषयों पर सवालों के जवाब दिए, जिनमें शांति भी शामिल थी, जिसे पोप ने "दुनिया की सबसे खूबसूरत चीज" कहा; परिवार का महत्व; दादा-दादी के करीब रहना, जो "रास्ता खोजने में मदद करते हैं"; और जयंती की तैयारी "खुशी के साथ" करना, जो, पोप ने बताया, केवल "मस्ती" से बहुत अलग है।
पोप का आगमन
इस वर्ष का आयोजन पिछले वर्षों से अलग था, जिसे आमतौर पर पॉल षष्ठम सभागार में आयोजित किया जाता था।
इस बार यह मुलाकात नए संत जोसेफ सेंटर के खेल मैदान में हुई, जो बारकाचा झरने के पास है, जिसका उद्घाटन जून में कुछ लाभार्थियों की उदारता के कारण हुआ है, जिनसे पोप ने सुबह-सुबह संत मर्था में अपनी कृतज्ञता व्यक्त करने के लिए मुलाकात की थी।
संत पापा जब बच्चों से मुलाकात करने अपनी सफेद कार से आए, तब वे पैडल या ताश खेल रहे थे या स्विमिंग पूल में तैर रहे थे।
शिविर का गीत बजाकर और जोरदार तालियों की गड़गड़ाहट के साथ पोप फ्रांसिस के आगमन की घोषणा की गई, जिनका स्वागत वाटिकन गवर्नरेट के अध्यक्ष कार्डिनल फर्नांडो वेरगेज़ अल्ज़गा और महासचिव सिस्टर राफैला पेट्रिनी ने किया।
'बच्चों की रक्षा करें'
अभिवादन करने और हाथ मिलाने के बाद, एक ऐसे व्यक्ति को विशेष बधाई दी गई, जिसने हाल ही में एक बच्चे को जन्म दिया है। और पगोडा जाने से पहले पोप ने समर कैंप के कर्मचारियों से संक्षिप्त मुलाकात की, उन्होंने स्वीकार किया कि उनमें से कई "पहले के बच्चे" हैं जो किशोर और वयस्क बन गए हैं, और अब इस समुदाय की सेवा करते हैं।
संत पापा ने उन्हें इस "सुंदर काम" में प्रोत्साहित करते हुए कहा, "आपकी मदद के लिए धन्यवाद, साथ ही उनसे हमेशा "बच्चों की रक्षा करने" का आग्रह किया।
परिवार का महत्व
अगला पड़ाव मैदान था जहाँ सभी बच्चे पोप का इंतजार कर रहे थे, वे बैठे हुए थे और "धन्यवाद" शब्द के साथ पैनल लहरा रहे थे।
उनमें से पाँच को संत पापा से सवाल पूछने का अवसर मिला। पहले सवाल में नन्हे पाओलो ने पूछा, "जब आप छोटे थे तो आपके शूरवीर कौन थे?" यह सवाल इस साल की थीम "भटकनेवाले शूरवीरों" के संदर्भ पर था। पोप ने तुरंत जवाब दिया, "मेरे माता-पिता।"
वहां, उन्होंने अर्जेंटीना से जुड़ी कुछ बचपन की याद साझा की, जिसमें वे और उनके चार भाई-बहन एक साथ टेबल पर बैठते थे और "माँ और पिताजी हमें कुछ सिखाते थे।" पोप ने कहा, "माता-पिता, परिवार, आपको बड़ा बनाते हैं," साथ ही उन्होंने दादा-दादी के महत्व को भी दोहराया।
उन्होंने जोर देते हुए कहा, "वे अद्भुत हैं!"
अर्जेंटीना में दादा-दादी के साथ गर्मियाँ
मटिल्डे के सवाल से प्रेरित दादा-दादी का विषय संत पापा के दिमाग में "अबुएलोस (दादा-दादी)" के साथ बिताई गई गर्मियों की याद दिलाता है, कभी पैतृक, कभी मातृवत, जिसके बारे में उन्होंने कहा कि हमेशा खुशी के पल होते हैं।
पोप ने जोर देकर कहा, "अपने दादा-दादी से बात करें।" "आप दादा-दादी के बारे में क्या सोचते हैं? आप ही बताइए," उन्होंने दल से पूछा।
"वे खुशी लाते हैं," आगे की पंक्ति में बैठी एक लड़की चिल्लाई। "दादा-दादी हमें अपना रास्ता खोजने में मदद करते हैं," एक और ने कहा।
"यह सही है," पोप ने पुष्टि की, और कहा, "आप अपने दादा-दादी के करीब रहिए, ठीक है?"
युद्ध की भावना कभी न रखें, हमेशा शांति की दिशा में काम करें
पोप फ्राँसिस ने एक और सिफारिश करते हुए कहा, शांति की दिशा में काम करें।
उन्होंने जोर देते हुए कहा, "शांति का निर्माण करना जीवन की सबसे खूबसूरत चीज है और हमें घर पर, जब हम झगड़ते हैं, अपने भाई-बहनों के साथ, जब हम क्रोधित होते हैं, शांति बनाने सीखना चाहिए।"
पोप फ्राँसिस ने कहा, "शांति बनाए बिना कभी बिस्तर पर नहीं जाएँ!" उन्होंने बच्चों से यह वाक्य तीन बार दोहराने को कहा।
उन्होंने कहा, "युद्ध की भावना के साथ कभी बिस्तर पर न जाएँ", उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि यह सभी पर लागू होता है, "यहां तक कि माता-पिता के लिए भी जब वे बहस करते हैं।"
जयंती के लिए खुशी के साथ तैयारी करना
आखिरी सवाल आनेवाले जयंती वर्ष से जुड़ा था, जिसमें मिशेल ने पूछा, "हम युवा लोग जयंती की तैयारी कैसे कर सकते हैं?"
पोप ने जवाब दिया, "जयंती शब्द 'जुबिलेशन' से निकला है और जुबिलेशन का मतलब है खुशी।" इसलिए, उन्होंने कहा, हमें "हमेशा खुशी के साथ तैयारी करनी चाहिए।" उन्होंने कहा कि खुशी "मस्ती" से अलग है, जो हमेशा "अच्छी" चीज नहीं होती।
प्रार्थनाएँ, गुब्बारे और अभिवादन
संत पापा के साथ मुलाकात समाप्त होने से पहले, ऐलिस नाम की एक लड़की ने पूरे "समर किड्स" समुदाय की ओर से एक पत्र पढ़ा, जिसमें इसे "एक शानदार अनुभव" बताया गया।
एक प्रार्थना के साथ मुलाकात का समापन हुआ, जिसके बाद पोप के लिए एक सफेद गुब्बारे सहित विभिन्न रंगों के प्राकृतिक, बायोडिग्रेडेबल रबर के गुब्बारे छोड़े गए, जिन पर पोप फ्राँसिस के पीछे बैनर पर छपे वही शब्द थे: तुम ईश्वर की नजर में अनमोल हो।"
आयोजकों ने इसे पोप के शब्दों को अधिक से अधिक लोगों तक पहुँचाने के इरादे से एक प्रतीकात्मक इशारा बताया।
विदा होने से पहले, संत पापा ने आभार के अंतिम शब्द कहे। उन्होंने कहा, "आपकी खुशी की भावना के लिए धन्यवाद।"
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