सेवा ईश्वर के प्रेम का प्रतिबिम्ब, पोप फ्राँसिस
“जब हम दूसरों की सेवा करना सीखते हैं, तब ध्यान और चिंता का हर भाव, कोमलता की हर अभिव्यक्ति एवं करूणा का हर कार्य, ईश्वर के प्रेम का प्रतिबिम्ब बन जाता है।”
वाटिकन न्यूज
वाटिकन सिटी, मंगलवार, 12 नवंबर 2024 (रेई) : “जब हम दूसरों की सेवा करना सीखते हैं, तब ध्यान और चिंता का हर भाव, कोमलता की हर अभिव्यक्ति एवं करूणा का हर कार्य, ईश्वर के प्रेम का प्रतिबिम्ब बन जाता है।”
यह बात संत पापा फ्राँसिस ने 12 नवम्बर को अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर कही है। उन्होंने इसके द्वारा सेवा का महत्व बतलाते हुए विश्वासियों को एक दूसरे की सेवा करने हेतु प्रोत्साहित किया है।
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12 November 2024, 15:32